उत्तर प्रदेश की 10 और उत्तराखंड की एक सीट पर राज्यसभा चुनाव होने हैं. इन सभी 11 सीटों पर 27 अक्टूबर को नामांकन और 9 नवंबर को मतदान होगा और नतीजे 11 नवंबर को घोषित किए जाएंगे. यूपी में सपा को जबरदस्त नुकसान और बीजेपी को सियासी तौर पर सात सीटों का फायदा होता नजर आ रहा है. इसके जरिए एनडीए पहली बार बहुमत के आंकड़े को आसानी से हासिल कर लेगा.
राज्यसभा सदस्यों का कार्यकाल हो रहा पूरा
दरअसल, 25 नवंबर को उत्तर प्रदेश से राज्यसभा के 10 सदस्यों का कार्यकाल खत्म होने जा रहा है. इनमें सबसे ज्यादा सपा के सदस्य हैं.
यूपी की 10 में से 8 से 9 सीटें बीजेपी के खाते में
यूपी के विधायकों के आंकड़े के लिहाज से बीजेपी 10 में से 8 सदस्यों को चुनकर उच्च सदन में आसानी से भेज सकती है. इसके अलावा उसे अतिरिक्त समर्थन मिल गया तो बीजेपी 9वीं सीट भी आसानी से जीत सकती है. वहीं, सपा विधायकों की संख्या के लिहाज से महज एक सीट मिलती दिख रही है जबकि बसपा और कांग्रेस अपने विधायकों के दम पर एक भी सीट नहीं जीत पा रही है. इस तरह से सपा को पांच में से चार सीटों का नुकसान उठाना पड़ेगा तो बसपा को अपनी दोनों सीटों का. वहीं, बीजेपी को 6 से 7 सीटों का सियासी फायदा मिलता दिख रहा है.
राज्यसभा के कुल 245 सदस्य हैं, जिनमें से बीजेपी नेतृत्व वाले एनडीए के पास सौ से ज्यादा सदस्य हैं. बीजपी 85, जेडीयू 5, बीपीएफ 1, आरपीआई 1, एनपीएफ 1, एमएनएफ 1 और नामित सदस्य 7 को मिलाकर कुल 101 सदस्यों का समर्थन हासिल है. इसके अलावा एआईडीएमके 9 के सदस्य हैं, जो एनडीए सरकार के साथ हैं. इस तरह से 110 सदस्य हो रहे हैं. ऐसे में यूपी और उत्तराखंड की 11 में से 10 सीटें जीतने में सफल रहते हैं तो यह आंकड़ा 120 पर पहुंच जाएगा. इस तरह से एनडीए पहली बार बहुमत के आंकड़े के साथ मॉनसून सत्र में नजर आएगा.