मोदी सरकार में हाल में शामिल किए गए और पदोन्नत किए गए मंत्री जन आशीर्वाद यात्राओं में प्रधानमंत्री मोदी के लाल किले की प्राचीर से 15 अगस्त को दिए गए संदेश को जन-जन तक पहुंचाएंगे। आगामी विधानसभा चुनावों के लिए भी यह यात्राएं अहम हैं, क्योंकि कोराना काल के दौरान यह सरकार का जनता के बीच जाने का सबसे बड़ा अभियान है। यह यात्राएं दिल्ली समेत देश के 19 राज्यों में 17 से 20 अगस्त के बीच तीन दिन को होंगी। भाजपा के सात केंद्रीय पदाधिकारियों को इन यात्राओं की जिम्मेदारी सौंपी गई है।
भाजपा नेतृत्व ने अपने नए 41 मंत्रियों (पदोन्नत समेत) को इन यात्राओं की कमान सौंपी है। इनमें वह जनता का आशीर्वाद तो लेंगे ही, साथ ही सरकार की उपलब्धियों व योजनाओं को भी जनता तक लेकर जाएंगे। इसमें सबसे अहम होंगा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का 15 अगस्त का लाल किले की प्राचीर से दिया गया भाषण। कोरोना काल में सरकार ने जो कदम उठाए हैं और आगे की उसकी जो तैयारी है उसके खुलासा प्रधानमंत्री के भाषण में होगा। जन आशीर्वाद यात्राओं में इसे प्रमुखता से जनता के बीच ले जाया जाएगा।
भाजपा ने अपने संगठन के एक महासचिव, एक उपाध्यक्ष व पांच सचिवों को इन यात्राओं की जिम्मेदारी सौंपी है। महासचिव तरुण चुग दिल्ली व उत्तर प्रदेश में रहेंगे, जबकि सचिव अरविंद मेनन को बिहार, राजस्थान व त्रिपुरा की जिम्मेदारी सौंपी गई है। झारखंड व गुजरात में विनोद सोनकर और उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश व अरुणाचल प्रदेश में एच. युवाओ रहेंगे। सुनील देवधर, पंकजा मुंडे व सत्या कुमार को तमिलनाडु, ओडिशा, मणिपुर, महाराष्ट्र, तेलगाना, कर्नाटक, असम, मध्य प्रदेश व पश्चिम बंगाल की जिम्मेदारी दी गई है।सभी नेताओं को अपनी यात्रा में तीन से चार लोकसभा या चार से पांच जिले कवर करने होंगे। इस दौरान वह 300 से 400 किलोमीटर की यात्रा करेंगे। पार्टी की तैयारी लगभग 150 लोकसभा क्षेत्रों को कवर करने की है। पार्टी के एक प्रमुख नेता ने कहा कि संगठन व सरकार के बीच समन्वय बढ़ेगा और जनता तक पहुंच व्यापक होगी। भाजपा नेतृत्व इन यात्राओं से कोरोना काल में जनता की प्रतिक्रिया भी जानेगा, ताकि अगले चुनावों की तैयारी को बेहतर किया जा सके।