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मच्छर भगाने के लिए कर रहे हैं कॉइल का इस्तेमाल? तो जानें इसके कितने हैं नुकसान

नई दिल्ली, जेएनएन। यह आप जानते हैं कि मच्छर किसी ना किसी बीमारी का कारण है और इससे बचने के लिए आप कई तरह के उपाय भी करते होंगे। लेकिन अगर आप मच्छर मारने के लिए कॉइल का इस्तेमाल करते हैं तो जरा संभलकर। यह मच्छर मारकर तो आपकी सुरक्षा करता है, लेकिन कई तरह की बीमारियों का घर है। यह कई तरह की बीमारियां पैदा करने का काम भी करता है। ऐसे में जानते हैं मच्छर मारने के लिए इस्तेमाल किए जाने वाले कॉइल कितने खतरनाक होते हैं…

इसके नुकसान बताने से पहले आपको बताते हैं कि यह बनती कैसे हैं। दरअसल मच्छर भगाने वाली ऐसी कॉइल में डीडीटी, अन्य कार्बन-फास्फोरस और अन्य खतरनाक तत्वों का समावेश रहता है, जो आपके स्वास्थ्य के लिए काफी नुकसान दायक होते हैं। मच्छर भगाने के ये सभी उपाय 2 से 4 घंटे तक ही प्रभावी रहते हैं और बीमारी का कारण बन जाते हैं।

हाल ही में सामने आई एक रिसर्च में पता चला है कि एक कॉइल 100 सिगरेट के बराबर खतरनाक है और इसमे से करीब पीएम 2.5 धुआं निकलता है जो कि बहुत ज्यादा है। इससे भले ही तंबाकू का धुआं नहीं निकलता हो, लेकिन इसमें कई ऐसे तत्व होते हैं जो शरी र के लिए नुकसान दायक है। मच्छर मारने वाली कॉइल में से बेंजो पायरेंस, बेंजो फ्लूओरोथेन जैसे तत्व निकलते हैं। वहीं इसके साथ ही मच्छर मारने वाली ये कॉइन आपके शरीर को और भी नुकसान पहुंचाती है।

– बता दें कि लगातार कॉइल की धुआं में रहने से सांस लेने में दिक्कत होना शुरु हो जाती है। इसके ज्यादा संपर्क से फेफड़ों पर भी असर पड़ता है।

– डॉक्टरों के अनुसार अगर कोई ज्यादा समय कॉइल की धुआं में सांस लेता है तो उसे अस्थमा होने का डर बढ़ जाता है। वहीं यह बच्चों के लिए ज्यादा खतरनाक है, इसे बच्चों से दूर रखना चाहिए।

– कॉइल से निकलने वाली धुआं से ना सिर्फ सांस लेने की दिक्कत होती है बल्कि इससे स्किन और आंखों पर भी असर पड़ता है। इससे आंखों में जलन होना आदि समस्याएं होना शुरू हो जाती है।