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Chhattisgarh High Court News: हाई कोर्ट ने कहा— अनुकंपा प्रकरणों का 90 दिन में करें निराकरण

Chhattisgarh High Court News: एसईसीएल में कार्यरत कर्मी की मौत पर प्रबंधन ने अनुकंपा नियुक्ति नहीं दी। अनुकंपा नियुक्ति नहीं देने पर स्वजन ने हाई कोर्ट की शरण ली है। इस मामले की सुनवाई करते हुए कोर्ट ने तीन माह के भीतर याचिकाकर्ता के प्रकरण का निराकरण करने का आदेश दिया है।

चिरमिरी कालरी क्षेत्र के बिश्रामपुर स्थित गायत्री माइंस में कार्यरत कर्मचारी लक्ष्मण एक्का की सेवा के दौरान 2019 में मौत हो गई थी। पति की मौत के बाद उनकी पत्नी सुखमनिया उर्फ चिकनी एक्का ने देयकों का भुगतान करने के साथ ही अपने बेटे जितेंद्र एक्का को अनुकंपा नियुक्ति देने की मांग की।

इस संबंध में उन्होंने एसईसीएल के अधिकारियों के समक्ष दस्तावेजों के साथ आवेदनपत्र प्रस्तुत की। लेकिन, एसईसीएल प्रबंधन ने मृतक के देयक मात्र का भुगतान किया और अनुकंपा नियुक्ति के संबंध में कोई कार्रवाई नहीं की। इस बीच सुखमनिया व स्वजन एसईसीएल कार्यालय का चक्कर काटते रहे। फिर परेशान होकर उन्होंने वकील जयप्रकाश शुक्ला के माध्यम से हाई कोर्ट में याचिका दायर की।

इसमें बताया गया कि एसईसीएल के साथ कर्मचारी का एग्रीमेंट होता है, जिसमें यह प्रविधान है कि सेवाकाल के दौरान यदि मृत्यु हो जाए तो संबंधित के आश्रितों को अनुकंपा नियुक्ति दी जाएगी। लेकिन, सीईसीएल प्रबंधन अपने ही अनुबंध का पालन नहीं कर रहा है। याचिकाकर्ता के वकील की तर्कों के साथ ही एसईसीएल प्रबंधन की तरफ से भी जवाब दिया गया।

दोनों पक्षों की सुनवाई के बाद जस्टिस गौतम भादुड़ी ने एसईसीएल सीएमडी, डायरेक्टर पर्सनल व विश्रामपुर एरिया के महाप्रबंधक को अनुकंपा नियुक्ति के संबंध में तीन माह के भीतर निर्णय लेने का आदेश दिया है।