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नए ईपीएफ नियम का आप पर कितना असर, आधार-यूएन को लिंक नहीं करने पर क्या-क्या होगा नुकसान, जानें यहां

कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) ने ईपीएफ खाते को नियमों के कई तरह का बदलाव किया जो एक सितंबर से लागू हो गए हैं। इसके तहत यदि आपने अपना पीएफ खाता और यूएएन को आधार से लिंक नहीं कराया है तो नियोक्ता आपके पीएफ में अपना योगदान नहीं दे सकेगा। इसके अलावा निकासी एवं अन्य तरह की परेशानियों का सामना भी करना पड़ सकता है। इसके लिए 31 अगस्त की समय सीमा तय की गई थी।

नियोक्ता का योगदान नहीं देख पाएंगे

सरकार ने ईपीएफ खाता को आधार से लिंक कराना अनिवार्य कर दिया है। इससे कई तरह के लाभ अंशधारक को मिलते हैं। खाता लिंक नहीं होने पर आपका नियोक्ता खाते में राशि नहीं डाल पाएगा। इसके अलावा आप खाते में नियोक्ता की ओर से जमा राशि का कुल योगदान भी नहीं देख पाएंगे।

जरूरत पर राशि नहीं निकाल सकेंगे

आपका ईपीएफ खाता यदि आधार से लिंक नहीं है तो ईपीएफ से किसी भी तरह की निकासी नहीं कर सकेंगे। अब किसी भी तरह की निकासी के लिए ईपीएप खाता का आधार से लिंक होना अनिवार्य है। केवल आपके लिए ही नहीं बल्कि आपके आश्रित के लिए यह परेशानी का सबब बन सकता है।

आसान है आधार से लिंक करना

सबसे पहले ईपीए‌फओ के पोर्टल पर लॉगइन करें। इसके बाद यूएएन और आधार से जुड़ा मोबाइल नंबर डालें। इसके बाद क्लिक टू जनरेट ओटीपी पर क्लिक करें। ओटीपी डालने के बाद लिंग का चुनाव करें। इसके बाद आधार नंबर डालें और आधार वेरिफिकेशन पर क्लिक करें। अब मोबाइल या ईमेल वेरिफिकेशन ऑप्शन पर क्लिक करें। इसके बाद एक और ओटीपी नंबर आपके मोबाइल या ईमेल पर आएगा। इस ओटीपी का सत्यापन करें और इसके बाद यूएएन और आधार लिंक की प्रक्रिया पूरी करें।