सागर :जिले के बंडा थाना क्षेत्र में सात वर्षीय नाबालिग से दुष्कर्म करने वाले दरिंदे को अदालत ने उम्रकैद की सजा सुनाई है। प्रकरण की सुनवाई विशेष न्यायाधीश पाक्सो एक्ट नीतूकांता वर्मा की कोर्ट में हुई। आरोपित बच्ची को बिस्किट खिलाने का लालच देकर साथ ले गया था जहां उसने दुष्कर्म किया। बाद में बच्ची लहूलुहान हालत में घर पहुंची थी। उसकी मां ने थाने पहुंचकर शिकायत दर्ज कराई थी।
अभियोजन के अनुसार 11 फरवरी 2021 को महिला अपनी सात साल की बेटी के साथ बंडा थाने पहुंची थी, जहां उसने शिकायत की थी कि पनारी गांव निवासी 30 वर्षीय आरोपित रामगोपाल पिता रामनाथ दांगी उसकी सात साल की बेटी को बिस्किट खिलाने का लालच देकर अपने घर ले गया। जहां उसने दुष्कर्म किया। बच्ची लहूलुहान हालत में घर पहुंची थी। बच्ची ने घटना की जानकारी दी। आसपास के लोगों ने बच्ची को रामगोपाल के साथ जाते देखा था। शिकायत पर बंडा पुलिस ने आरोपित के खिलाफ दुष्कर्म सहित अन्य धाराओं में प्रकरण दर्ज किया। मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस ने कुछ ही घंटों में आरोपित को गिरफ्त में लेकर पूछताछ की। पूछताछ में आरोपित ने अपराध स्वीकार कर लिया। आरोपित को गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया गया। जहां से उसे न्यायिक हिरासत में जेल भेजा गया था। पुलिस ने मामला कोर्ट में पेश किया। सुनवाई के दौरान अभियोजन ने मामले से जुड़े साक्ष्य पेश किए। मामले में सुनवाई करते हुए न्यायालय ने आरोपी रामगोपाल को दोषी पाते हुए आजीवन कठोर कारावास और 5000 रुपए जुर्माने की सजा सुनाई है।
हत्या के तीन आरोपितों को आजीवन कारावास
उधर, हत्या के एक मामले में द्वितीय अपर सत्र न्यायाधीश सागर न्यायालय एसबी साहू के न्यायालय ने तीन आरोपितों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। अभियोजन के मीडिया प्रभारी सौरभ डिम्हा ने बताया कि मृतक संतराम ठाकुर के भाई पंकज ठाकुर ने थाना गोपालगंज में रिपोर्ट की कि दिनांक 4.1.2019 के रात्रि 11 बजे वह अपने दोस्त के साथ एमएलबी स्कूल के बाहर पंचमुखी बजरंग बली मंदिर के पास खड़े आपस में बातें कर रहे थे कि उसी समय झगड़े की आवाज सुनकर अपने दोस्त के साथ बिट्ट सैनी के घर के सामने पहुंच कर देखा तो संतराम को नितिन दुबे ने पुरानी बुराई पर से कांच की बाटल सिर पर मार दी और पिंटू ठाकुर ने एक छुरा निकालकर संतराम की छाती पर मार दिया। संतराम के सिर से खून बहने लगा व पास में खड़े अभि नगाइच ने बीच बचाव किया तो नितिन दुबे ने छुरा निकाल कर अभि के बाएं गाल पर छुरा मार दिया। बिट्ट सैनी व नितिन दुबे ने अपने अपने छुरे से जान से मारने की नीयत से संतराम को गर्दन में बाएं तरफ व पीछे, सीना व पीठ एवं बाएं कान में छुरा से लगातार वार किए। पंकज व उसका दोस्त चिल्लाते हुए बचाने दौड़े तो उसके बाद दोनों भाग गए। पंकज अपने दोस्त के साथ अपने भाई को अपनी मोटरसाइकिल से तिली अस्पताल इलाज कराने ले गए। अस्पताल में डाक्टर ने उसके भाई को मृत घोषित कर दिया। उक्त आवेदन के आधार पर से आरोपित के विरुद्ध थाना गोपालगंज में प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज की गई और प्रकरण अनुसंधान में लिया गया। विवेचना पूर्ण कर अभियोग पत्र न्यायालय में पेश किया गया। न्यायालय द्वारा उभय पक्ष को सुना गया। प्रकरण में अभियोजन द्वारा विचारण के दौरान 19 अभियोजन साक्षियों को परीक्षित कराया गया। विचारण के दौरान अभियोजन ने अपना मामला संदेह से परे प्रमाणित किया। माननीय सुप्रीम कोर्ट के न्याय दृष्टांत प्रस्तुत किए, जिस पर से न्यायालय ने तीन आरोपित पिंटू ठाकुर उर्फ आकाश, बिट्ट उर्फ सौरभ सैनी व नितिन दुबे को दोषी पाते हुए भादवि की धारा 302/149 में आजीवन कारावास व पांच हजार रुपये का अर्थदण्ड एवं 324/149 में एक-एक वर्ष का कारावास व एक-एक हजार का अर्थदण्ड से दण्डित करने का आदेश दिया।