सैलाब के बीच जवानों ने कहा, पहाड़ से चिपक जाओ… एक-एक कदम पर हमें सुरक्षा दी। हमें अपनी आर्मी ने बचाया। उन्हें शत-शत नमन, शत-शत नमन… अमरनाथ हादसे में फंसे बुजुर्ग दंपती रेस्क्यू ऑपरेशन के इन लम्हों को बयान करते हुए भावुक हो गए। महिला की आंखों से आंसू भी निकल आए। वहीं, मलबे के बीच से निकाले गए एक व्यक्ति पहले अपनी हालत पर फूट-फूट कर रोने लगा। जवानों ने उसे दिलासा दिया कि वह बिल्कुल ठीक है। इस पर वह सामान्य हुआ। अमरनाथ हादसे में 16 लोगों की जान चली गई। इसके अलावा चालीस लोग लापता और पचास से अधिक घायल हैं।
गुफा के ठीक सामने समतल क्षेत्र में बनाई गई टेंट सिटी
हल्की बारिश के बीच टेंट सिटी में यात्रियों का जमावड़ा था। पांच हजार के करीब श्रद्धालुओं में कुछ दर्शन के लिए आ रहे थे और कुछ दर्शन कर वापसी पर थे। बम-बम भोले के जयघोष के बीच बादलों की तेज गर्जना हुई, लेकिन किसी को पता नहीं था कि पवित्र गुफा से कुछ दूरी पर बादल फटने से टेंट सिटी में सैलाब आने वाला है। गुफा के ठीक सामने समतल क्षेत्र में बनाई गई टेंट सिटी में श्रद्धालु दर्शन और लौटने की तैयारी कर रहे थे। सैलाब आने के दौरान लंगर के पास लगे टेंट में मौजूद यात्री केशव कुमार ने बताया कि गर्जना के कुछ समय बाद ही पानी की तेज आवाज आने लगी।
सीटियां बजाकर और शोर मचाकर यात्रियों को किया सावधान
पानी की एक बड़ी सी जलधारा पवित्र गुफा की बाईं ओर ऊपर से नीचे की तरफ आई। गुफा के सामने बहने वाले नाले में अन्य कई जगहों से पानी तेज बहाव में आने लगा। सुरक्षा बलों के जवानों ने पहले सीटियां बजाकर और शोर मचाकर यात्रियों व सेवादारों को सावधान करना शुरू कर दिया। इसके साथ सुरक्षा बल के जवान टेंट सिटी में जाकर लोगाें को सुरक्षित निकालने में जुट गए।
टेंट सिटी में कोई पक्का ढांचा नहीं
एक अधिकारी ने बताया कि पहले पानी का बहाव कम था। सुरक्षा बलों ने ऐन मौके पर यात्रियों को सावधान करते हुए उन्हें सुरक्षित स्थानों की ओर शिफ्ट करने की प्रक्रिया शुरू कर दी। इसके बाद पानी का बहाव तेजी से बढ़ता गया। टेंट सिटी में कोई पक्का ढांचा नहीं था। पूरे क्षेत्र में एक दूसरे से सटकर टेंट लगाए गए थे।
पानी के सैलाब ने रास्ते में आए टेंटों में तबाही मचाई
ऐसे में पानी का तेज बहाव जहां से गुजरा, टेंट अपने साथ बहा ले गया। पानी के सैलाब ने रास्ते में आए टेंटों में तबाही मचाई। हालांकि बाद में पानी का स्तर धीरे-धीरे कम होता गया। रेस्क्यू दल ने जब शव निकाले तो कई शव मलबे के नीचे दब चुके थे। तेज बहाव में आया पानी मिट्टी और पत्थर भी साथ लेकर आया था।
बाबा बर्फानी की गुफा में ली शरण
बादल फटने से आए सैलाब से अफरातफरी मच गई। टेंट सिटी वाली जगह नीचे थी, जिसे बाढ़ ने चपेट में लिया। इस दौरान पवित्र गुफा के नजदीक स्थित टेंटों में ठहरे यात्री गुफा की ओर भागे। वहीं, दूसरी तरफ लोगों ने पहाड़ की ओर भाग कर जान बचाई।
- अफरातफरी के बीच पवित्र गुफा में प्रवेश के लिए बनी सीढ़ियां भीड़ से भर गईं। सुरक्षा बलों ने सावधानी पूर्वक इस भीड़ को भगदड़ में तब्दील होने से बचा लिया। सैलाब के बीच इन यात्रियों के लिए बाबा बर्फानी की गुफा का परिसर ही शरणस्थली बन गया।