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मुस्लिमों की आधी आबादी पर बीजेपी की नजर, तीन तलाक को चुनावी मुद्दा बनाने की तैयारी!

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उत्तर प्रदेश विधानसभा के चुनावों की घोषणा होते ही सभी राजनीतिक दल अपनी अपनी गोटियां बिठाने में लगे हुए हैं. वैसे तो राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ खुद को राजनीतिक दल नहीं कहता है लेकिन चुनाव में राजनीतिक गोटियां सेट करने में संघ भी पीछे नहीं दिख रहा है.

ताजा जानकारी ये है कि आरएसएस ने मुस्लिम महिलाओं से जुड़े अहम मसले तीन तलाक पर आम राय बनाने की योजना बना ली है. अहम बात ये है कि आम राय बनाने के इस अभियान के दौरान मुस्लिम मतदाताओं को जाति और धर्म से ऊपर उठकर राष्ट्र के नाम वोट डालने को प्रेरित भी किया जाएगा.

इस पूरे अभियान की रूपरेखा संघ के मुस्लिम राष्ट्रीय मंच (एमआरएम) की तरफ से तैयार की गई है. इसमें तीन तलाक को लेकर प्रदेश भर में मुस्लिम आबादी के बीच जलसे का आयोजन किया जाएगा. इस जलसे में संघ के वरिष्ठ सदस्य और मुस्लिम राष्ट्रीय मंच के संरक्षक इंद्रेश कुमार भी शामिल होंगे. सूत्रों के अनुसार जो तैयारी की गई है, उसमें सिर्फ कुरान का हवाला देते हुए ही तीन तलाक पर सही क्या है और गलत क्या है, यह बताया जाएगा.

यही नहीं जलसे के दौरान मुस्लिम मतदाताओं को यह भी बताया जाएगा कि किस तरह से वोटबैंक की खातिर तमाम राजनीतिक दलों ने उनका इस्तेमाल किया है. उनके विकास को लेकर अब तक किए गए कामों का तुलनात्मक अध्ययन भी इस जलसे में पेश किए जाने की सूचना है.

पूरे जलसे के दौरान संघ और एमआरएम के सदस्य मुस्लिम मतदाताओं को धर्म और जाति से ऊपर उठकर वोट डालने के लिए प्रेरित करेंगे.

मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट ने कहा था कि तीन तलाक असंवैधानिक है और मुस्लिम महिलाओं के मूलभूत अधिकारों का हनन करता है. कोर्ट ने साथ ही कहा था कि कोई भी पर्सनल लॉ बोर्ड देश के कानून से ऊपर नहीं हो सकता. इलाहाबाद हाईकोर्ट की इस टिप्पणी का इंद्रेश कुमार ने स्वागत किया था और इसे कट्टरपंथी सोच के खिलाफ मुस्लिम महिलाओं की बड़ी जीत बताया था.