नवोदय विद्यालय में क्राइम सीन देखने के बाद एसआईटी ने छात्रा के माता-पिता से संपर्क स्थापित किया। रविवार को उन्हें सुल्तानपुर से मैनपुरी लाया गया। पुलिस की गाड़ी से ही सुरक्षा के बीच उन्हें यहां तक पहुंचाया गया। यहां कैंप कार्यालय पर एसआईटी ने उनसे लंबी पूछताछ की।
छात्रा की मौत के कुछ महीनों बाद माता-पिता सुल्तानपुर चले गए थे। यहां छात्रा के पिता एक पाइप फैक्ट्री में नौकरी करते हैं। उन्हें वहीं उच्च न्यायालय द्वारा दोबारा एसआईटी गठित किए जाने की जानकारी मिली। शनिवार को एसआईटी ने मैनपुरी पहुंचकर मात-पिता के बारे में जानकारी जुटाई थी। जानकारी पर उन्हें तत्काल मैनपुरी लाने के आदेश दिए थे। इसी के तहत रविवार को सुबह सुल्तानपुर पुलिस माता-पिता को लेकर लखनऊ पहुंची। यहां से लखनऊ पुलिस उन्हें सुरक्षा के बीच रविवार को दोपहर साढ़े तीन बजे के करीब मैनपुरी लेकर पहुंची।
पुलिस उन्हें सीधा ट्रांजिस्ट हॉस्टल स्थित एसआईटी कैंप कार्यालय लाई। यहां एडीजी भानु भास्कर ने उनसे छात्रा के संबंध में जानकारी जुटाई। उन्होंने बारीकी से छात्रा और उसके दोस्तों के बारे में जानकारी की। देर शाम तक एसआईटी के सदस्यों ने बारी-बारी से परिजनों से घंटों पूछताछ की। इस दौरान किसी को भी कैंप कार्यालय में आने-जाने की अनुमति नहीं दी गई। उन्हें फोन पर भी किसी से बात नहीं करने दी गई।
हाईकोर्ट ने दिए थे सुरक्षा उपलब्ध कराने के आदेश
उच्च न्यायालय ने नवोदय छात्र की कथित मौत के मामले में जांच के लिए आदेश दिए थे। साथ ही परिजनों को कोई परेशानी न हो इसके लिए पुलिस सुरक्षा उपलब्ध कराने के आदेश भी दिए थे। ऐसे में परिजनों को पुलिस सुरक्षा उपलब्ध करा दी गई है। हर समय वे अब पुलिस की सुरक्षा के बीच रहेंगे।