बेसिक शिक्षा परिषद के स्कूलों में 79,568 सहायक अध्यापक अधिशेष (सरप्लस) हैं। केंद्र सरकार के शिक्षा मंत्रालय के स्कूल शिक्षा एवं साक्षरता विभाग ने अपनी रिपोर्ट में सरप्लस पदों का खुलासा करते हुए प्रदेश सरकार को सहायक अध्यापकों के पदों को सुव्यवस्थित करने और सभी स्कूलों में आवश्यक शिक्षकों की उपलब्धता सुनिश्चित करने को कहा है।
रिपोर्ट के मुताबिक, बेसिक शिक्षा परिषद के 1.58 लाख से अधिक स्कूलों में अभी 3.79 लाख से अधिक शिक्षक कार्यरत है। वहीं एक लाख 40 हजार से अधिक शिक्षा मित्र भी कार्यरत हैं। इस तरह स्कूलों में कुल 5 लाख 19 हजार शिक्षक-शिक्षामित्र कार्यरत है।
प्राथमिक विद्यालयों में छात्र शिक्षक अनुपात 30:1(30 विद्यार्थियों पर एक शिक्षक) और उच्च प्राथमिक विद्यालयों में 35:1(35 विद्यार्थियों पर एक शिक्षक) है। परिषदीय विद्यालयों में करीब 1.76 करोड़ विद्यार्थी नामांकित हैं। केंद्र सरकार का मानना है कि सहायक अध्यापकों और शिक्षा मित्रों की कुल संख्या और पंजीकृत विद्यार्थियों की कुल संख्या के हिसाब से प्रदेश में 79,568 सहायक अध्यापक सरप्लस हैं। हालांकि, विभाग में सृजित पदों की दृष्टि से सहायक अध्यापकों और प्रधानाचार्यों के करीब 1.26 लाख पद खाली हैं।
इधर तो भर्ती की तैयारी
प्रदेश सरकार की ओर से बेसिक शिक्षा परिषद के स्कूलों में सहायक अध्यापक भर्ती के लिए राजस्व परिषद के अध्यक्ष की अध्यक्षता में एक कमेटी गठित की है। कमेटी जिलावार रिक्त पदों का आकलन कर भर्ती के लिए रिपोर्ट देगी। सूत्रों का कहना है कि कमेटी की रिपोर्ट के बाद भर्ती पर निर्णय होगा।
उधर, माध्यमिक शिक्षा में 70 फीसदी पद खाली
केंद्र सरकार के शिक्षा मंत्रालय की रिपोर्ट के मुताबिक प्रदेश में माध्यमिक विद्यालयों में सहायक अध्यापकों एवं प्रधानाध्यापकों के 10,903 पद स्वीकृत है। 3,665 कार्यरत है और 7,238 पद खाली है। सहायक अध्यापकों के 9,417 पद सृजित है। इनमें से 2,622 सहायक अध्यापक कार्यरत है और 6,795 पद खाली है। वहीं प्रधानाचार्य के 1486 पद स्वीकृत है, 1,043 प्रधानाचार्य कार्यरत है और 443 पद खाली है।
इनका कहना है
शिक्षकों की नई नियुक्तियों और नामांकन के बाद स्थिति बदली है। हम रिपोर्ट का अध्ययन कर रहे हैं।
अनामिका सिंह, सचिव बेसिक शिक्षा