उन्होंने कहा, पार्टी का सघन सदस्यता अभियान चल रहा है, इसे और तेजी एवं मजबूती देनी चाहिए। संगठन जितना मजबूत होगा हमारी आवाज में उतनी ही ताकत होगी।
सपा ने विकास के नाम पर चुनाव लड़ा। सांप्रदायिक ताकतों की जीत स्थायी नहीं रहने वाली है। सपा इनके खिलाफ संघर्ष करती रहेगी। भाजपा की सामाजिक सौहार्द एवं धर्मनिरपेक्षता के विरोध की नीति का डटकर विरोध होगा। कार्यकर्ता संगठित और प्रतिबद्ध रहें।
कई लोगों ने शिकायत की कि उनके जनपदों में सामाजिक सद्भावना बिगाड़ने की साजिशें हो रही हैं। सपा की जनहित की योजनाओं की बदनामी की जा रही है या उन्हें रोका जा रहा है। भाजपा का यह जनविरोधी आचरण है।
सब का विकास का वादा किया गया था किन्तु किसानों के साथ धोखाधड़ी की गई। राज्यकर्मियों का भी उत्पीड़न हो रहा है। पुलिस पर सत्तारूढ़ दल के लोग हमला कर रहे हैं। अधिकारियों को अपमानित किया जा रहा है।